श्री ब्राह्मणी माता मंदिर-मोरबी

मोरबी यह राजकोट से मात्र 64 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। मच्छू नदी के तट पर स्थित है। स्वतंत्र होने से पहले यह देशी राज्य पूर्वी कठियावाड़ सबएजेंसी के अधिकार में था। इसका क्षेत्रफल 822 वर्ग मील था। यहाँ के शासक (पदवी ठाकुर) जदेजा राजपूत थे और अपने को कच्छ के राव का वंशज मानते थे। 15 फरवरी, 1948 ई. में यह गुजरात में मिला दिया गया। मयूरध्वज मोरबी के राजा थे

बाढ से दो बार विनाश:

1979 में आई बाढ़ के कारण मोरबी निर्जन हो गया था। इसके सभी एतिहासिक स्मारकों को बाढ ने जर्जर कर दिया था। लेकिन अब मोरबी ने एक बार फिर टाईल्स और घडी बनाने के कारखाने के बल पर अपने को खड़ा कर लिया है। मोरबी प्राचीन जडेजा राजपूतों की राजधानी था। मध्‍य काल में भारी मात्रा में बारिश होने के कारण मच्छु बांध टूट गया था। आज भी मोरबी में होने वाली भारी तबाही की भविष्यवाणी को व्यक्त करने वाले लोक गीत गाये जाते है।

वर्तमान मोरबी का नगर विन्‍यास वाघ जी का देन है। उन्होने 1879 से 1948 ई. तक यहां शासन किया था। सर वाघ जी ने अपने अन्य समकालीन शासको की तरह सड़कों और सात मील लम्बे वढ़वाड तथा मोरबी को जोडने वाले रेलमार्ग का निर्माण करवाया। उन्‍होंने नमक और कपडे़ का निर्यात करने के लिए दो छोटे बंदरगाहों नवलखा और ववानिया का भी निर्माण करवाया। मोरबी का रेलवे स्टेशन स्थापत्य शैली का सुन्दर उदाहरण है जिसमें भारतीय और यूरोपीय स्थापत्य कला का अनूठा संगम देखने को मिलता है। यहाँ देखने लायक अनेक इमारतें हैं लेकिन खास निम्न हैं:

  • मनि मंदिर

मनि मंदिर नामक इस मंदिर में लक्ष्मी नारायण, महाकाली, रामचन्द्रजी, राधा-कृष्णजी और शिव भगवान की मूर्तियां बनी हुई है। मनि मंदिर जयपुर के पत्थर से बना हुआ है जिसमें कोष्ठक, जाली, छतरी, शिखर पर कारीगरी और नक्काशी का काम बहुत ही सुन्दरता के साथ किया गया है।

  • झूलता हुआ पूल

मोरबी शासको द्वारा बनवाया यह पूल मार्बल से बना हुआ है। यह पूल मच्‍छू नदी पर बना हुआ है। यह पूल 1.25 मीटर लम्बा और 233 मीटर चौड़ा है।

पता:

ब्राह्मणी माता मंदिर,
पुरानी मोरबी, गुजरात 363641

  •  मोरबी कैसे पहुंचा जाये:
  • हवाई मार्ग:
      • सिविल एयरपोर्ट (आरएजे), राजकोट, (वांकानेर -39 किमी दूर)
      • गोवर्धनपुर एयरपोर्ट (JGA), जामनगर, (वांकानेर – 98 किमी दूर)
  • रेल मार्ग:
    • रेलवे स्टेशन: वांकानेर जंक्शन (WKR)

वांकानेर (27 किलोमीटर) की दूरी पर स्थित सबसे करीबी रेलवे स्टेशन है। राजकोट से वांकानेर तक यात्रा करने के लिए रोज़ाना कई एक्सप्रेस और लोकल ट्रेनें हैं।

  • सड़क मार्ग:

वांकानेर शहर को जोड़ने वाले राज्य राजमार्गों का भी अच्छा नेटवर्क है। राज्य परिवहन निगम मोरबी को गुजरात के सभी प्रमुख शहरों और कस्बों से जोड़ता है। वांकानेर से मोरबी के बीच की दूरी सड़क मार्ग से 30 किमी है। वांकानेर से मोरबी पहुंचने का सुविधाजनक, सबसे तेज़ और सस्ता तरीका हैं, टैक्सी लेना।

  • राजकोट-वांकानेरमोरबी: NH 27: 1 घंटे 54 मिनट (88.8 कि.मी)
  • वांकानेर – मोरबी: एनएच 27 के माध्यम से 44 मिनट (29.4 किमी)

  • स्थानीय परिवहन:

मोरबी से राजकोट 67 किलोमीटर और अहमदाबाद 247 किलोमीटर की दूरी पर है।मोरबी के लिए बिना मीटर के ऑटोरिक्शा मिल जाते है। राजकोट से मोरबी पहुंचने में मात्र 2 घंटे का समय लगता है। यहां दो बस स्टैण्ड है, जिन्हें नए और पुराने बस स्टैण्ड के नाम से जाना जाता है।

संदर्भ:

      • Gujarat Tourism
      • Google Search
      • Wikipedia

अनुरोध:

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